बुधवार, 29 अक्तूबर 2008
शनिवार, 25 अक्तूबर 2008
Diwali Greetings
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सभी पाठकों को मिथिलामैथिल की तरफ से दीपावली की हार्दिक शुभकामना ये ग्रीटिंग्स आप अपनों को मेल कर सकतें हैं
बुधवार, 22 अक्तूबर 2008
Kung fu fan blows out candles with eyes
यह चीनी मार्शल आर्ट का खिलाड़ि अपनी आंखों से मोमबती को बुझा सकता है | यह कैफेंग शहर का रहने वाला है इसका नाम लिंग चुन्जिंग है जो एक विशेष प्रकार का चस्मा पहन कर एक मिनट में करीब १२ मोमबतियों को बुझा सकता है |
लिंग जो आठ साल की उम्र से अपने दादा के साथ कुंग फु का अभ्यास कर रहा | इसी दौरान इसे ज्ञात हुआ की वह आखों के जरिये मोमबती को बुझा सकता है
लिंग का एक और करतब की वह बिअर की बोत्तल की पेंदी को तोड़ सकता है वो भी बिना बांकी बोत्तल को नुकशान पहुचाये|
उसके अनुसार वह अपने खाली समय में रेस्तरां में बिअर की बोतलों को उछलने का करतब दिखाया करता था जब उसे इस बात का आभास हुआ की वह बोतल की तली को बांकी बोतल को बिना नुकशान पहुचाये तोड सकता है | चाइना समाचार एजेन्सी के अनुसार
लिंग जो आठ साल की उम्र से अपने दादा के साथ कुंग फु का अभ्यास कर रहा | इसी दौरान इसे ज्ञात हुआ की वह आखों के जरिये मोमबती को बुझा सकता है
लिंग का एक और करतब की वह बिअर की बोत्तल की पेंदी को तोड़ सकता है वो भी बिना बांकी बोत्तल को नुकशान पहुचाये|
उसके अनुसार वह अपने खाली समय में रेस्तरां में बिअर की बोतलों को उछलने का करतब दिखाया करता था जब उसे इस बात का आभास हुआ की वह बोतल की तली को बांकी बोतल को बिना नुकशान पहुचाये तोड सकता है | चाइना समाचार एजेन्सी के अनुसार
सोमवार, 20 अक्तूबर 2008
Kya Ye Haal Ho Gaya
यह कविता मैंने कारगिल युद्ध के समय लिखी थी | पर आज भी समय कुछ खास नही बदला है | आज भी खौफ के साये में हम जी रहें हैं | आतंक किसी समस्या का हल कभी नही हो सकता है बल्कि आतंक केवल आतंक ही हो सकता है चैन सुकून कभी नही | जो लोग आतंक के द्वारा चैन सुकून की तलाश कर रहे है क्या उन्हें कभी चैन मिला है शायद नही यदि उहें चैन मिलता तो फिर कोई ऐसा कार्य नही होता जिस पर किसी बच्चे को अनाथ होना परे | आज आतंक केवल किसी धर्म या क्षेत्र की बात नही बल्कि यह विश्व भर में एक व्यवसाय के रूप में उभर रहा है | जो धर्म और क्षेत्र की आर में चलाया जा रहा है | और अपना ऊलू सीधा करने के लिए मासूम जानो से खेला जाता है | इसकी वजह भी हम ही हैं | क्योकि हम काफी हद तक संवेदन हिन् होते जा रहे हैं और कई बार ऐसे कार्य से कोई सबक नही लेते और दूसरी घटना का इंतजार करते है जिसका परिणाम रोज हमें ऐसी घटने देखने सुनने को मिल जाती हैं और हम कबूतर की तरह आँखें बंद कर ख़ुद को सुरक्षित मह्सुश करते है|
बुधवार, 15 अक्तूबर 2008
Boy's best pillow
पिछले सात साल से एक आठ साल का लड़का चीन के गुंग्दोंग प्रोविंस में सांप के साथ रह रहा है| बिंग जहे के पिता जो एक चिडियां घर चलते है के अनुसार उनका लड़का जब नौ महीने का था तब से बोया सांप के साथ खेल और रह रहा है पर सांप ने उसे कभी नुकसान नही पहुँचाया बल्कि एक बार सांप ने कोबरा सांप से बिंग को बचाया | बिंग बोया को रोज रात में सोने के लिए तकिये की तरह इस्तेमाल करता है | वास्तव में दोनों की दोस्ती कबीले तारीफ है| आप क्या कहतें हैं |
source: chinaview
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सोमवार, 13 अक्तूबर 2008
Man can write with tears
यह चीनी आदमी अपनी आँखों से लिख सकता है|
रु अन्तिंग ५६ वर्षीय यह व्यक्ति जो लुओयांग, हेनान प्रोविंस में रहता है अपनी नाक से पानी सोख कर आंखों की अश्रु नलिकाओं से छिर्काव कर सुलेख लिख सकता है|
इसने अपनी इस कला का प्रदर्शन हाल ही में लोट्स वर्ल्ड पार्क शंशुई शहर, गुंग्दोंग में किया |
इसको अपनी इस प्रतिभा का पता उस समय चला जब वह तैर रहा था की वह पानी को सोख कर आँखों से छिर्काव कर सकता है |
जब १९९० में इसकी नौकरी छुट गई तो यह अपनी इस अद्भुत प्रतिभा को निखारने को विवश हुआ | तीन साल के अथक प्रयास के बाद यह अब १० फिट तक आँखों से छिर्काव कर सकता है|
link
गुरुवार, 9 अक्तूबर 2008
Vijaya Dhashmi
आज विजयदशमी है। हर साल की तरह इस साल भी रावन के पुतले को जलाया गया | पर क्या वास्तव में रावण जल गया | क्या हमने बुराई पर विजय प्राप्त कर ली| क्या किया हमने रावण के पुतले को जला कर | क्या कोई उत्तर है शायद नही | यदि है तो वह केवल बात के सिवाय कुछ भी नही | क्यूँ की बुराई हम सब में है | दूसरे को बुरा कहना आसान है पर स्वयम के लिए बुरा नही सुन सकते है| हम भ्रस्टाचार की बात करतें हैं | पर बढ़ावा भी हम स्वयम देतें हैं | वास्तव में बुराई पर लिखना आसान है | पर दूर करना उतना ही मुश्किल | क्यूंकि भ्रस्टाचार सभ्य समाज का अभिन्न अंग बनता जा रहा है जिसे हम अपने बच्चों को संस्कार की तरह विरासत में देने जा रहे हैं | अच्छी शिक्षा के नाम पर डोनेशन देना भी इसी बुराई का अंग है पर क्या करें बच्चे के भविष्य का सवाल है यदि डोनेशन नही दिया तो बच्चे को अच्छी शिक्षा कहाँ से मिलेगी | अब अगर डोनेशन देना है और इतनी आमदनी नही है की डोनेशन दिया जा सके तो कुछ उल्टे सीधे काम तो करने ही पड़ेगे |
इधर यह मानसिकता बनती जा रही है की यदि पैसे देकर काम बन रहा है तो हम अपना समय क्यूँ बर्बाद करें | आप सही हैं फिर भी आपको अपने काम के लिए जेब तो ढीली करनी ही होगी क्यूँ की आप अगर नही इस बुराई के भागीधर बनाना चाहते हैं तो आप से आगे या पीछे खड़े लोग बनने को तैयार हैं | तब हरे को हरिनाम वाली कहावत सत्य होगी और आपको भी इस का हिस्सा बनाना पड़ेगा |
यह तो मैंने एक तरह के विषय पर कही है ऐसी कितनी ही विषय है जिन पर कहना बांकी है| इस तरह हम रावन को कैसे जला सकते है जब हम में जिन्दा रावणों से लड़ने की हिम्मत जवाब देने लगती है| यदि कोई उत्तर है तो अवश्य बताएं|
इधर यह मानसिकता बनती जा रही है की यदि पैसे देकर काम बन रहा है तो हम अपना समय क्यूँ बर्बाद करें | आप सही हैं फिर भी आपको अपने काम के लिए जेब तो ढीली करनी ही होगी क्यूँ की आप अगर नही इस बुराई के भागीधर बनाना चाहते हैं तो आप से आगे या पीछे खड़े लोग बनने को तैयार हैं | तब हरे को हरिनाम वाली कहावत सत्य होगी और आपको भी इस का हिस्सा बनाना पड़ेगा |
यह तो मैंने एक तरह के विषय पर कही है ऐसी कितनी ही विषय है जिन पर कहना बांकी है| इस तरह हम रावन को कैसे जला सकते है जब हम में जिन्दा रावणों से लड़ने की हिम्मत जवाब देने लगती है| यदि कोई उत्तर है तो अवश्य बताएं|
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रविवार, 5 अक्तूबर 2008
Golden girl
यह एक आदम कद मूर्ति कटे मॉस "आधुनिक अफ्रोदिते" की है जिसके पॉँव उसके पीठ पर टिके है जिसे ब्रिटिश संग्राहलय में प्रर्दशित किया गया है| यह सबसे बड़ी स्वर्णिम प्रतिमा है जो प्राचीन ईजिप्ट के समय से अबतक बना है जिसका वजन ५० किलो है|
गुरुवार, 2 अक्तूबर 2008
वो थे गांधी
यह कविता गांधी जी को समर्पित है | आज इस तनाव के माहौल में गांधी जी कितने सार्थक है यह कहने की जरुरत नही है | यदि आप कुछ कहना चाहतें है तो अवश्य कहें| क्योंकि बीना कहे किसीका हल नही निकल सकता है |
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